Gold Futures Price Today: सोने की वायदा कीमत दो महीने के उच्चतम स्तर पर पहुंची, जानिए क्या है नया रेट
Gold Price Today एक तरफ जहां दुनिया के बाजारों में सोने की कीमत में गिरावट का रुख बना हुआ है वहीं भारत में सोने की कीमत में तेजी देखी जा रही है। सरकार द्वारा सोने पर आयात शुल्क बढ़ाने के फैसले के बाद डाउ जोंस वायदा आज सोना लगातार महंगा होता जा रहा है।
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। सोमवार को सोने की वायदा कीमतों (Gold Price) में तेजी का रुख देखा गया। वायदा बाजार में सोने की कीमत (Gold Futures Price) 2 महीने के अधिकतम स्तर पर पहुंच गई। मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज ऑफ इंडिया लि. (MCX) पर वायदा बाजार में सोना 0.4 फीसद बढ़कर 52,117 रुपये प्रति 10 ग्राम हो गया। बता दें कि सरकार द्वारा सोने पर आयात शुल्क बढ़ाने के फैसले के बाद शुक्रवार को भारत में सोने की कीमतों में लगभग 3 फीसद यानी लगभग 1,500 रुपये प्रति 10 ग्राम की वृद्धि हुई थी। दरअसल, सरकार ने मांग को घटाने और व्यापार घाटे को कम करने के लिए सोने पर आयात शुल्क 7.5 फीसद से बढ़ाकर 12.5 फीसद कर दिया है। मालूम हो कि भारत अपनी आवश्यकता का अधिकांश सोना आयात करता है।
दुनिया के बाजारों में घटी कीमत
घरेलू बाजार के विपरीत, वैश्विक बाजारों में सोना आज 0.2 फीसद फिसलकर 1,807.19 डॉलर प्रति औंस पर आ गया। अमेरिकी बॉन्ड वैल्यू में गिरावट से सोने की वैश्विक कीमतें नीचे आ गईं और यह शुक्रवार को एक महीने के सबसे निचले स्तर पर आ गया। इस दौरान ईटीएफ फंड फ्लो भी कमजोर रहा। दुनिया के सबसे बड़े गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड एसपीडीआर गोल्ड ट्रस्ट (SPDR Gold Trust) की होल्डिंग शुक्रवार को 0.8 फीसद गिरकर 1,041.9 टन हो गई, जो गुरुवार को 1,050.31 टन थी।
कहां तक जा सकता है सोना
सोने की कीमतों (Gold Price) पर अभी कुछ समय तक दबाव बने रहने की उम्मीद है। सरकार द्वारा आयात शुल्क (Import Duty On Gold) बढ़ाने के फैसले के बाद बाजार में एक असुरक्षा का माहौल बना है। आशंका जताई जा रही है कि आयात शुल्क बढ़ाने से सोने की कालाबाजारी बढ़ सकती है। बता दें कि भारतीय बाजार में सोने की कीमत दुनिया के बाजारों में सोने की कीमत और आयात शुल्क के अलावा, डॉलर के मुकाबले रुपये के उतार-चढ़ाव पर निर्भर करती है। ज्वैलर्स भी सरकार से सोने के आयात शुल्क में बढ़ोतरी पर पुनर्विचार की मांग कर रहे हैं। उनका मानना है कि कृषि बुनियादी ढांचे के विकास के लिए 2.5 फीसद डेवलपमेंट सेस (AIDC) सहित सोने पर आयात शुल्क को बढ़ाकर 15 प्रतिशत करने के सरकार के फैसले का आभूषण व्यापार पर बुरा प्रभाव पड़ेगा। आयात शुल्क में वृद्धि से सोने की तस्करी काफी हद तक बढ़ने की आशंका है। नतीजतन, सरकार को राजस्व का भारी नुकसान हो सकता है।
यूएस प्री-ओपन: चीनी उथल-पुथल वाली बिक्री के बाद वायदा थोड़ा अधिक है
न्यूयॉर्क स्टॉक एक्सचेंज शेयरकास्ट फोटो / जोश व्हाइट
पिछले सत्र में भारी नुकसान के बाद मंगलवार को वॉल स्ट्रीट वायदा हरे रंग में था।
1215 GMT तक, डाउ जोंस फ्यूचर्स 0.09% ऊपर थे, जबकि S&P 500 और नैस्डैक-100 फ्यूचर्स में इंडेक्स क्रमशः 0.30% और 0.49% अधिक खुले थे।
देश में चल रहे कोविड-497.57 प्रतिबंधों से चीन में सामाजिक अशांति के बारे में चिंताओं के बीच सोमवार को डॉव 19 अंक गिरकर बंद हुआ।
मुख्य भूमि चीन में बढ़ती हताशा के बाद वायदा खुले से थोड़ा पहले कारोबार किया, दुनिया भर के वैश्विक बाजारों पर तौला और दिसंबर 2021 के बाद से वेस्ट टेक्सास इंटरमीडिएट क्रूड वायदा को अपने न्यूनतम स्तर पर धकेल दिया। ब्रेंट और डब्ल्यूटीआई दोनों वायदा ने तब से दिशा बदल दी है और इससे पहले उच्च कारोबार किया व्यापार की शुरुआत।
AvaTradeनईम असलम ने कहा: "बाजार में सभी तरह की अटकलें हैं, उनमें से कुछ संकेत देते हैं कि चीन मौजूदा अनुमानों की तुलना में बहुत जल्द उन उपायों में ढील देगा। ऐसी गपशप हैं जो इंगित करती हैं कि बीजिंग किसी भी उपाय में ढील देने के मूड में नहीं है।" और जीरो-कोविड नीति देश के विकास को खा जाएगी।
"तथ्य यह है कि सरकार की ओर से स्पष्टता की कमी इन सभी अफवाहों का कारण बन रही है। चीन को कदम उठाना चाहिए और अपनी कोविड संबंधी नीतियों के बारे में अधिक स्पष्टता देनी चाहिए क्योंकि यह दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है, और चीन में आर्थिक मंदी चल रही है।" बाकी दुनिया को भी चोट पहुँचाने के लिए।
मैक्रो फ्रंट पर, सम्मेलन बोर्डनवंबर की उपभोक्ता विश्वास रिपोर्ट सत्र का प्राथमिक फोकस होगी, जिसमें बाजार प्रतिभागी परिणाम पर बहुत बारीकी से नजर रखेंगे क्योंकि यह अमेरिका में उपभोक्ता स्वास्थ्य के बारे में कुछ संकेत प्रदान करेगा। विश्लेषकों को उम्मीद है कि हेडलाइन संख्या 102.5 से 100 के अपने पिछले पढ़ने से धीमी हो जाएगी - संभावित स्पूकिंग ट्रेडर्स।
कहीं और, सितंबर का हाउस प्राइस इंडेक्स 1400 GMT पर प्रकाशित होगा, जबकि नवंबर का डलास फेड सर्विसेज इंडेक्स 1530 GMT पर डेक पर होगा।
कमाई के मामले में, वित्तीय सॉफ्टवेयर फर्म सहज ट्रेडिंग बंद होने के बाद पहली तिमाही के आंकड़े जारी करेगा।
ट्रंप के कोरोना होते ही अमरीकी वायदा बाजार धड़ाम, शेयर बाजार भी हो सकता क्रैश
नई दिल्ली। अमरीकी राष्टपति डोनाल्ड ट्रंप और उनकी पत्नी मेलेनिया ट्रंप कोरोना वायरस पॉजिटिव की खबरों के बाद अमरीकी फ्यूचर मार्केट में बड़ी गिरावट देखने को मिली है। डाउ जोंस फ्यूचर और नैस्डैक फ्यूचर दोनों डेढ़ फीसदी की गिरावट के साथ कारोबार कर रहे हैं। वहीं एफटीएसई में भी एक फीसदी की गिरावट देखने को मिल रही है। एशियाई बाजार भी दबाव में आ गए हैं। निक्कई और शंघाई दोनों बाजारों में गिरावट का दौर देखने को मिल रहा है। अब वैश्विक बाजार निवेशकों की नजरें अमरीकी शेयर बाजार पर हैं, जो कुछ ही समय में खुलने वाला है। जानकारों की मानें तो अमरीकी शेयर बाजार में इस खबर से बड़ी गिरावट देखने को मिल डाउ जोंस वायदा आज सकती है। आपको बता दें अमरीकी प्रेसीडेंशियल इलेक्शन में डोनाल्ड ट्रंप के एक बार फिर से राष्ट्रपति बनने की उम्मीदें लगाई जा रही हैं। ऐसे में उनका कोरोना पॉजिटिव होना ना तो उनके लिए और ना ही बाजार के लिए अच्छे संकेत हैं।
Gold Silver Price: सोना-चांदी : चांदी की वायदा कीमत में गिरावट, जानिए कितना हुआ सोने का दाम
कमजोर वैश्विक संकेतों के बीच भारतीय बाजारों में आज सोने की वायदा कीमत सपाट रही, वहीं चांदी में गिरावट आई। एमसीएक्स पर सोना वायदा 44,930 रुपये प्रति 10 ग्राम पर सपाट रहा, जबकि चांदी 0.2 फीसदी लुढ़ककर 67,510 रुपये प्रति किलोग्राम पर आ गई। पिछले सत्र में सोना वायदा 0.35 फीसदी बढ़ा था जबकि चांदी 1.3 फीसदी उछली थी।
वैश्विक बाजारों में डाउ जोंस वायदा आज सपाट रही सोने की कीमत
वैश्विक बाजारों में आज सोने की कीमत 1,732.32 डॉलर प्रति औंस पर सपाट रही। इस सप्ताह अमेरिकी फेडरल रिजर्व सहित केंद्रीय बैंक नीति के परिणामों पर स्वर्ण व्यापारियों की नजर होगी। बैंक ऑफ इंग्लैंड द्वारा लिए गए निर्णय गुरुवार को सामने आएंगे जबकि बैंक ऑफ जापान के मौद्रिक नीति निर्णय शुक्रवार के लिए निर्धारित हैं। पिछले कारोबारी दिन एसएंडपी 500 और डाउ जोंस इंडस्ट्रियल एवरेज उच्च स्तर पर बंद हुए। आज अधिकांश एशियाई बाजारों में बढ़त थी। अन्य कीमती धातुओं में चांदी 0.2 फीसदी गिरकर 26.22 डॉलर रही जबकि प्लैटिनम 0.1 फीसदी की गिरावट के साथ 1,211.91 डॉलर पर बंद हुआ। बिटक्वाइन 54,000 डॉलर से नीचे फिसल गया।
कमजोर निवेशक रुचि को दर्शाता है ईटीएफ का प्रवाह
दुनिया की सबसे बड़ी गोल्ड समर्थित एक्सचेंज ट्रेडेड फंड या गोल्ड ईटीएफ, एसपीडीआर गोल्ड ट्रस्ट की होल्डिंग्स शुक्रवार के 1,052.07 टन के मुकाबले सोमवार को 0.2 फीसदी गिरकर 1,050.32 टन हो गई। स्वर्ण ईटीएफ सोने की कीमत पर आधारित होते हैं और उसके दाम में आने वाली घट-बढ़ पर ही इसका दाम भी घटता बढ़ता है। मालूम हो कि ईटीएफ का प्रवाह सोने में कमजोर निवेशक रुचि को दर्शाता है। एक मजबूत डॉलर अन्य मुद्राओं के धारकों के लिए सोने को अधिक महंगा बनाता है।
2021 में सोने की मांग में सुधार की उम्मीद
मालूम हो कि देश की सोने की मांग बीते साल यानी 2020 में 35 फीसदी से अधिक घटकर 446.4 टन रह गई। विश्व स्वर्ण परिषद (डब्ल्यूजीसी) की एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है। हालांकि, इसके साथ ही रिपोर्ट में कहा गया है कि अब स्थिति सामान्य हो रही है और साथ ही सतत सुधारों से उद्योग मजबूत हुआ है। ऐसे में इस साल 2021 में सोने की मांग में सुधार की उम्मीद है।
कमजोर वैश्विक संकेतों के बीच भारतीय बाजारों में आज सोने की वायदा कीमत सपाट रही, वहीं चांदी में गिरावट आई। एमसीएक्स पर सोना वायदा 44,930 रुपये प्रति 10 ग्राम पर सपाट रहा, जबकि चांदी 0.2 फीसदी लुढ़ककर 67,510 रुपये प्रति किलोग्राम पर आ गई। पिछले सत्र में सोना वायदा 0.35 फीसदी बढ़ा था जबकि चांदी 1.3 फीसदी उछली थी।
वैश्विक बाजारों में सपाट रही सोने की कीमत
वैश्विक बाजारों में आज सोने की कीमत 1,732.32 डॉलर प्रति औंस पर सपाट रही। इस सप्ताह अमेरिकी फेडरल रिजर्व सहित केंद्रीय बैंक नीति के परिणामों पर स्वर्ण व्यापारियों की नजर होगी। बैंक ऑफ इंग्लैंड द्वारा लिए गए निर्णय गुरुवार को सामने आएंगे जबकि बैंक ऑफ जापान के मौद्रिक नीति निर्णय शुक्रवार के लिए निर्धारित हैं। पिछले कारोबारी दिन एसएंडपी 500 और डाउ जोंस इंडस्ट्रियल एवरेज उच्च स्तर पर बंद हुए। आज अधिकांश एशियाई बाजारों में बढ़त थी। अन्य कीमती धातुओं में चांदी 0.2 फीसदी गिरकर 26.22 डॉलर रही जबकि प्लैटिनम 0.1 फीसदी की गिरावट के साथ 1,211.91 डॉलर पर बंद हुआ। बिटक्वाइन 54,000 डॉलर से नीचे फिसल गया।
कमजोर निवेशक रुचि को दर्शाता है ईटीएफ का प्रवाह
दुनिया की सबसे बड़ी गोल्ड समर्थित एक्सचेंज ट्रेडेड फंड या गोल्ड ईटीएफ, एसपीडीआर गोल्ड ट्रस्ट की होल्डिंग्स शुक्रवार के 1,052.07 टन के मुकाबले सोमवार को 0.2 फीसदी गिरकर 1,050.32 टन हो गई। स्वर्ण ईटीएफ सोने की कीमत पर आधारित होते हैं और उसके दाम में आने वाली घट-बढ़ पर ही इसका दाम भी घटता बढ़ता है। मालूम हो कि ईटीएफ का प्रवाह सोने में कमजोर निवेशक रुचि को दर्शाता है। एक मजबूत डॉलर अन्य मुद्राओं के धारकों के लिए सोने को अधिक महंगा बनाता है।
2021 में सोने की मांग में सुधार की उम्मीद
मालूम हो कि देश की सोने की मांग बीते साल यानी 2020 में 35 फीसदी से अधिक घटकर 446.4 टन रह डाउ जोंस वायदा आज गई। विश्व स्वर्ण परिषद (डब्ल्यूजीसी) की एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है। हालांकि, इसके साथ ही रिपोर्ट में कहा गया है कि अब स्थिति सामान्य हो रही है और साथ ही सतत सुधारों से उद्योग मजबूत हुआ है। ऐसे में इस साल 2021 में सोने की मांग में सुधार की उम्मीद है।
अधिकतम अंक: 5
न्यूनतम अंक: 1
मतदाताओं की संख्या: 802